सेहत के बारे में अखबार व टीवी पर रोज नयी-नयी बातें आती हैं, जो अधिकतर विरोधाभास से भरी होती हैं। इनके चलते लोग गलतफहमी का शिकार हो जाते हैं या उनकी समझ में नहीं आता कि क्या सही है और क्या गलत। नतीजतन कुछ स्वास्थ्य संबंधी मिथ भी खड़े हो गये हैं जो आपको अच्छी […]
अभिजीत नक्षत्र – सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड अथवा अंतरिक्ष की सही गणना हो सके, इसके लिए अंतरिक्ष को 27 भागों में बॉंटा गया- जिन्हें नक्षत्रों का नाम दिया गया तथा राशि चा की अथवा अंतरिक्ष वृत्त की कुल 360 डिग्री में प्रत्येक को 13.20 डिग्री का माप मिला। किन्तु एक दूसरी विधि में नक्षत्र मण्डल को 12.51.3/7 […]
चॉकलेट से कपड़े खराब हो जाएँ तो पेटोल लगाएं, दाग साफ हो जाएँगे। गर्मियों में दूध को पूरे दिन सुरक्षित रखने के लिए उसमें छोटी इलायची पीस कर डाल दें, दूध फटेगा नहीं। मिठाई बनाने के लिए जब चाशनी बनाएँ, तो एक हिस्सा चाशनी थोड़ी देर उबलते ही अलग निकाल लें। चाशनी में मिठाई का […]
ऐसा नहीं है कि सेक्स के दौरान मात्र महिलाओं की पसंद-नापसंद ही मायने रखती है, बल्कि पुरुषों की पसंद-नापसंद भी काफी अहमियत रखती है। अगर दोनों ही एक-दूसरे की नापसंद के प्रति सतर्कता बरतेंगे, तभी पनपती है रिश्तों में गहराई। सेक्स के दौरान पुरुषों को सबसे अधिक कोफ्त होती है, अगर उनका साथी यौनक्रिया के […]
बिन्दु से सिंधु – बिंदू जी महाराज “बिंदू’ पुस्तक का नाम : योगीराज डॉ. बिंदूजी महाराज “बिंदू’ – सिंहावलोकन लेखक : श्रीकांत पाण्डेय “पियूष’ पृष्ठ संख्या : 40, मूल्य : 25 रुपये प्रकाशन : आचार्य श्रीचंद्र कविता महाविद्यालय एवं शोध संस्थान, 13-3-391, निर्वाण अखाड़ा पुरानापुल, हैदराबाद – 500 006. भारत भूमि संत-महंतों का देश […]
नेचर पत्रिका में हाल में प्रकाशित एक शोध समाचार में कहा गया है कि गाएँ संभवतः पृथ्वी के चुंबकीय क्षेत्र का अनुभव कर सकती हैं और ज्यादातर समय उतर-दक्षिण दिशा के समांतर खड़ी रहती हैं। काफी संभावना इस बात की है कि वे उत्तर की ओर मुंह करके खड़ी रहती हैं। यह निष्कर्ष करीब 8000 […]
पेरिस के एक गरीब मुहल्ले में एक लंबा चोगा, सिर पर छोटा-सा हैट तथा आंखों पर काला चश्मा लगाए एक भारतीय महिला रहती थी, जिस पर ब्रिटिश व फ्रांसीसी सरकार की सख्त नजर थी। जब वह महिला अपने जीवन के अंतिम दिनों में मातृभूमि भारत में आकर मरी तो किसी भारतीय या मुंबई निवासी ने […]
हम सभी रोज डरते हैं। डर के प्रकार पृथक-पृथक होते हैं और कारण भी। हम तमाम चीजों से डरते हैं, तमाम कामों से डरते हैं। कई बार अपने डरने का कारण स्पष्ट नहीं होता, फिर भी डरते हैं। कोई पत्र आया तो भी हल्का-सा डर कुछ लोगों में पैदा हो जाता है कि न जाने […]
यह एक बुरी खबर है। बहुराष्टीय कंपनियों के लिए तो यह शुभ समाचार है, लेकिन देश के लिए और देश की जनता के लिए बुरा संकेत है। यह देश-हित व जन-हित पर बहुराष्टीय स्वार्थों की एक और जीत है। खबर यह है कि देश के चिकित्सकों के सबसे बड़े संगठन “इंडियन मेडिकल एसोसिएशन’ यानी भारतीय […]