ले बीणी रे धणीया ने आरोध्या रामकँवर जीने धूप केवा मोय दुर्वल माही बीड़ पड़ी है कई म्हारा निकंलग ने मलियो टेर बेगा बेगा आईजो विलम मती जाईजो मोय दुर्बल म्हारी देख दया कई थारो हालतो रो हेवड़ थाकीयो कई आलस कर सोय गया कई म्हारा देव कलुमाई दरपीया व कई अमर पूर माल रहया […]
ले बीणी रे धणीया ने आरोध्या रामकँवर जीने धूप केवा मोय दुर्वल माही बीड़ पड़ी है कई म्हारा निकंलग ने मलियो टेर बेगा बेगा आईजो विलम मती जाईजो मोय दुर्बल म्हारी देख दया कई थारो हालतो रो हेवड़ थाकीयो कई आलस कर सोय गया कई म्हारा देव कलुमाई दरपीया व कई अमर पूर माल रहया […]
एक सब पीरन में पीर तंवर तपधारी तपधारी तवर तप धारी एक रामा राजकंवार आप अवतारी एक समय अजमालजी द्वारका आये द्वारका आये जा बैठा चारन चोर के दर्शन पाये अजमलजी करी अर्दाश अर्ज सुनलीजो अर्ज सुन लीजो एक आप सरीका पुत्र हरी मोये दीजो जा होगा तेरे पुत्र वंश में भारी वंश में यारी […]
बाबा रामदेव जी ओ ताने खमा घणी मरुधरा हो देव थारी ध्वजा फरूखे सारा देश में साच्चा मन सु ध्यावे जिनरो जन्म सफल होवे मालका ते हो कलयुग रा भगवान थाने खमा घणी निर सागर में अजमलजी ने दियो हरी यो वरदान जी भादवा री दुज चादनी आऊला राखन थारो मानजी पानी रो सब दूध […]
दिन बन्धु दीना नाथ मोरी सुध लीजिए भाई नाही बन्धु नाही कुटुम्ब परिवार नाही ऐसो कोई मित्र नाही जाने जाछन जावीए रूपे को रुपयों नाही सोने को सलयो नाही कोडी पैज्ञा पास नाही कनने जाय कहिये चाकरी रो चाव नही खेवीरो उपाय नही ऐसो कोई साहू नाही जिनने जाय कहिए मोटी मोटी जँहाज वारी भक्तारा […]
राम ने भजलो रे भाई हरि ने भजलो रे भाी लेवन ने हरि नाम तिरन नै है गंगा माई पाँच पन्छा में मोरियों पनी जीयों वा पदमा बाई माता पिता मुकलावों दिनों गया बनी माई दुःखरे कारण गया बन्नी में वॉ प्रदमा बाई सुख दुःख तो प्रचन ने माता पार्वती आई हर भजता हिरणा कुश […]
वारी मोरा मायका लाल ऐसा नहीं करना रे वारी मोरा जीत का लाल ऐसा नहीं करना रे जल उन्डो संसार थोडा तिरना सुब्द कुब्द दोय नार दोय पर रानीयाँ रे ज्हांरा न्यारा न्यारा सबाव संत पहचानीयाँ रे आई कुब्दा नार कुब्दा कर गई रे दालीयों चौरासी माय जनम डूबोयो रे आई सुब्दा नार सामो जोयो […]
जाग्य म्हारा भाग्य प्रेम गुरु मिल्या घर बैटा ही रे आज निद उग्यो भलाई रे करोड करोड बंदन गरु दाता के चरण के माई रे गरु सा री महीमा अधिक गौविंद से वर्णीन जाई रे जीबा के कारण तारण दाता देही बनाई रे आप ही नाव आप के वटीया पार लगाई रे जीवा के कारण […]